उत्तर प्रदेश में शासन स्तर पर कराए गए सर्वे के दौरान मिले 8,449 मदरसों को मान्यता देने की तैयारी शुरू हो गई है।

उत्तर प्रदेश में शासन स्तर पर कराए गए सर्वे के दौरान मिले 8,449 मदरसों को मान्यता देने की तैयारी शुरू हो गई है। इसके अलावा, मदरसा बोर्ड से मान्यता होने के बावजूद पोर्टल से छूटे करीब 2,500 मदरसों के साथ मानक पूरे करने वाले अस्थायी मदरसों को भी स्थायी किया जाएगा। उत्तर प्रदेश मदरसा शिक्षा परिषद से मौजूदा समय में मान्यता प्राप्त प्रदेश में तहतानिया कक्षा 1 से 5, फौकानिया कक्षा 5 से 8 और आलिया व उच्च आलिया स्तर यानि हाई स्कूल या इससे ऊपर के करीब 16,460 मदरसे हैं। इनमें सरकार से आर्थिक सहायता प्राप्त 560 हैं।

मदरसा शिक्षा परिषद के चेयरमैन डॉ. इफ्तिखार अहमद जावेद ने बताया कि मानक पूरा करने वाले मदरसों को मान्यता दी जाएगी। बोर्ड के ऑनलाइन होने से पहले सभी मदरसों की मान्यता कागजों पर होती थी। पोर्टल बनने के बाद करीब 2,500 मदरसे ऐसे हैं जिनकी मान्यता है लेकिन वह पोर्टल पर नहीं हैं। इसके अलावा अस्थाई मान्यता प्राप्त सैकड़ों मदरसे हैं।

मदरसा शिक्षा परिषद की सोमवार को बोर्ड के सदस्यों के नहीं पहुंचने पर बुलाई गई बैठक स्थगित कर दी गई। उन्होंने बताया कि कई सदस्य बीमार हैं तो कुछ ने परिवार के सदस्यों के बीमार होने की वजह से आने में असमर्थता जताई। इसके बाद 11 सितंबर की तारीख तय की गई है।

इस फैसले से उत्तर प्रदेश में मदरसों की संख्या में काफी वृद्धि हो जाएगी। यह फैसला उन मदरसों के लिए भी राहत की बात है जो मानक पूरे करने के बावजूद मान्यता से वंचित थे।

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